निर्मल अखाड़े में फिर से विवाद की संभावना!
हरिद्वार। संतों की नगरी में मठ-मंदिरों पर कब्जे को लेकर विवाद होना कोई नई बात नहीं है। आए दिन सम्पत्ति पर कब्जे को लेकर विवाद सामने आते रहते हैं। सैंकड़ों मामले इसी से जुड़े न्यायालय में विचाराधीन हैं। इसी के चलते न्यायालय में मौजद लोेगों में से प्रतिदिन प्रत्येक तीन में से एक व्यक्ति भगवाधारी दिखायी देता है।
अब नया मामला निर्मली अखाड़े में फिर से उत्पन्न हो सकता है। बता दें कि निर्मल पंचायती अखाड़े पर कब्जे को लेकर कई बार विवाद उत्पन्न हो चुका है। अबकी बार नया विवाद अखाड़ा परिषद के दो फाड़ होने के बाद बदली परिस्थतियों को लेकर उत्पन्न हो सकता है। अखाड़ा परिषद के दोनों ही गुट बहुमत का दावा कर रहे हैं। किन्तु किस गुट के पास बहुमत का आंकड़ा है यह सभी जानते हैं। बावजूद इसके कोई भी गुट कदम पीछे हटाने को तब तक तैयार नहीं है, जब तक की समाज मेें उनकी छिछालेदार नहीं हो जाती।
अब निर्मल अखाड़े के दूसरे गुट के महंत कश्मीरा सिंह भूरी वाले अपने शिष्य प्रेम सिंह व निर्मल संतपुरा के संत जगजीत सिंह को लेकर संतो ंके दरवाजे पर दस्तक दे रहे हैं। आज कई संतों से उन्होंने मुलाकात की और दूसरे गुट को निर्मल अखाड़े का समर्थन होने की बात भी कही। सूत्र बताते हैं कि कश्मीरा सिंह को निर्मल अखाड़े पर उनका कब्जा करवा देने का लॉलीपोप दिया गया है। जिस कारण से उनके हौंसले बुलंद हो रहे हैं।
उधर निर्मल अखाड़े के कोठारी संत जसविंदर सिंह ने बताया कि अखाड़े के अध्यक्ष श्रीमहंत ज्ञानदेव सिंह महाराज ही है। अखाड़े पर असमाजिक तत्वों द्वारा कई बार कब्जे का प्रयास किया गया है। किन्तु वे सफल नहीं हो सके और न ही उनके मंसूबों को सफल होने दिया जाएगा। उन्होंने कहाकि इनका निर्मल अखाड़े से कोई संबंध नहीं है और वर्ष 2019 में इनके खिलाफ रिपोर्ट भी दर्ज करायी हुई है। उन्होंने बताया कि निर्मल अखाड़े का समर्थन श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के सचिव महंत रविन्द्रपुरी महाराज के साथ है। और वही बहुमत वाली अखाड़ा परिषद है। जिसमें चतु सम्प्रदाय के संत शामिल हैं। उन्होंने बताया कि कश्मीरा सिंह का काम सम्पत्तियों पर कब्जा करना और बवाल करना ही है। बताया कि पटना में कश्मीरा सिंह के शिष्य प्रेम सिंह ने एक गुरुद्वारे पर कब्जा किया और वहां एक ग्रंथी का हाथ काट दिया था। इसके साथ ही अमृतसर भौलीवाला में भी इन्होंने एक डेरे पर कब्जा किया हुआ है। इसके साथ स्वर्ण मंदिर में पुराना जोड़ा घर पर भी इनके द्वारा बवाल किया गया। संत जगजीत सिंह महाराज ने कहाकि इनकी नीयत सम्पत्तियों पर कब्जा करने वाली रही है। इनके मंसूबों को किसी भी कीमत पर सफल नहीं होने दिया जाएगा। उन्होंने कहाकि कश्मीरा सिंह को किसी भी प्रकार का निर्मल अखाड़े में अधिकार नहीं है, फिर वह किस हैसियत से किसी को समर्थन दे सकते हैं। उन्होंने कहाकि ये सब निर्मल अखाड़े में विवाद उत्पन्न करने की साजिश है, जिसे किसी भी कीमत पर सफल नहीं होने दिया जाएगा।